स्वदेशी मदद-------

कोरोना जैसे महामारी से लड़ने के लिए हमारे (भारतीय) वैज्ञानिकों ने  क्रांतिकारी एक किट का आविष्कार किया हैं। वही दुसरी ओर बेंगलुरु के फोर्टिस अस्पताल ने एक रोबोट तैयार कर अनुठी पहल की हैं।
रोबोट के माध्यम् से स्क्रीनिंग होगी व संक्रमित होने की पहचान होगी तथा किट मरीजों के नमूनों की सही जांच करेगी। अर्थात् रोबोट से पहचान और किट से जांच।
इससे स्वस्थ्य कर्मियों को काफी मदद मिलेगी। काम सटीक व आसान होगें।
रोबोट का नाम "मित्र" और किट का नाम "चित्रा मैग्ना" रखा गया हैं।
पहले रोबोट के बारे में जानते है.............
"मित्र" नामक रोबोट को अस्पताल के सामने अर्थात् प्रवेश द्वार पर रखा जायेगा। इस रोबोट के जरिऐ लोगों को स्क्रीनिंग किया जायेगा। यह अस्पताल में आये किसी भी व्यक्ति के शरीर का तापमान मापने के साथ ही
साथ खांसी और जुकाम जैसे लक्षणों से संबंधित सवाल पुछेगा। व्यक्ति के चेहरे और उसकी अवाज से बुखार, खांसी व जुकाम जैसे लक्षणों से, कोरोना होने व न होने का पता लगायेगा। यदि अस्पताल में प्रवेश कर रहे व्यक्ति का तापमान, जुकाम, खांसी जैसे लक्षण रोबोट को न मिले तो वह उस व्यक्ति को एक पास देगा। जिस पास पर उस व्यक्ति का नाम व उसकी फोटो होगी। और यदि उस व्यक्ति में कोरोना के सारे लक्षण पाये गये तो रोबोट उसे एक दूसरा पास देगा। जिसमें उसके शुरुआती यानि रोबोट के माध्यम् से किये गये स्क्रीनिंग फेल होने की बात लिखी रहेगी।इसके बाद दूसरा रोबोट उस व्यक्ति को डॉक्टर क्लीनिक की ओर ले जायेगा। जहां डॉक्टर दूर से ही उसके नजदीक जाये बिना उसकी जांच करेगें...............
लोगों के अलावा, रोबोट के माध्यम् से अस्पताल में प्रवेश करने वाले प्रत्येक डॉक्टर, नर्स, स्वस्थ्यकर्मी और अन्य कर्मियों की भी स्क्रीनिंग की जायेगी।
अब "चित्रा मैग्ना" नामक नैनो किट की बात करते है। इस किट को श्री चित्रा चिकित्सा विज्ञान और प्रोद्दोगिकी संस्थान के एक डॉक्टर की टीम ने बनाया हैं। इस किट में अतिसूक्ष्म चूम्बकीय कणों का इस्तमाल किया गया हैं। इस किट से नमूनों के नतीजें बेहतर आयेगें। क्योंकि इसमें चूम्बकीय कणों का प्रयोग किया गया हैं। मरीज के गले व नाक से एकत्र किये गये नमूनें इन चूम्बकिय कणों में चिपके रहेगे, जो शुद्ध व काफी मात्रा में मिलेगें। प्रयोगशाला तक पहुँचने के दौरान नुकसान की कोई संभावना नहीं रहेगी। अतः जांच के नतीजें अधिक सही निकलेगें।
कोरोना वायरस संक्रमित स्क्रीनिंग और सटीक जांच के लिए स्वदेशी रोबोट तथा किट से स्वस्थ्यकर्मियों को इलाज के दौरान काफी मदद मिलेगी और काम काम भी आसान होगा.............।